मानसून के दौरान सिग्नलिंग प्रणाली के सुनिश्चित संचालन को के लिए भारतीय रेल द्वारा किए गए उपाय
अत्यधिक वर्षा की स्थिति में ट्रैक की विशेष पेट्रोलिंग की गई; क्षेत्रीय मौसम विज्ञान केंद्रों एवं जिले के अधिकारियों के साथ समन्वय भी सुनिश्चित किया गया
गोरखपुर ब्यूरो: भारतीय रेल पर रेलवे पुलों एवं ट्रैक के निरीक्षण की एक सुस्थापित प्रणाली है। रेलवे ट्रैक का निरीक्षण निर्दिष्ट अधिकारियों द्वारा निर्धारित फ्रीक्वेंसी पर किया जाता है। नियमित रखरखाव के लिए निर्धारित कार्यक्रम के अतिरिक्त मानसून के दौरान सिग्नलिंग प्रणाली के समुचित संचालन को सुनिश्चित करने हेतु विशेष उपाय किए जाते हैं।
किए गए उपाय-
- यार्ड के ड्रेनेज की सफाई करके यार्ड में ड्रेनेज प्रणाली में सुधार किया जाता है। पूर्वोत्तर रेलवे पर 38 स्टेशनों के यार्ड के ड्रेनेज की सफाई करके यार्ड में ड्रेनेज प्रणाली में सुधार किया गया है।
- ट्रैक सर्किट की विफलता के लिए चिह्नित संवेदनशील स्थानों पर पहले से ही ध्यान दिया जाता है।
- ट्रैक एवं सिग्नलिंग अधिकारियों द्वारा प्वाइंट्स एवं ट्रैक सर्किट्स का संयुक्त निरीक्षण किया जाता है तथा सुधारात्मक उपाय किए जाते हैं। पूर्वोत्तर रेलवे पर ट्रैक एवं सिग्नलिंग अधिकारियों द्वारा 4,666 प्वाइंट्स एवं ट्रैक सर्किट्स का संयुक्त निरीक्षण कर सुधारात्मक कार्य किए गए हैं।
- जलभराव के प्रति संवेदनशील चिह्नित क्षेत्रों में एक्सल काउंटर की व्यवस्था की गई है। पूर्वोत्तर रेलवे पर जलभराव के प्रति संवेदनशील 131 चिह्नित क्षेत्रों में एक्सल काउंटर की व्यवस्था की गई है।
मानसून के दौरान चिन्हित रेल खंडों में मानसून पेट्रोलिंग की शुरुआत, संवेदनशील स्थानों पर पेट्रोलमैन की तैनाती, अत्यधिक वर्षा की स्थिति में ट्रैक की विशेष पेट्रोलिंग जैसी विशेष सावधानियाँ बरती जाती हैं।
मौसम की अद्यतन जानकारी के लिए सम्बन्धित क्षेत्रीय मौसम विज्ञान केंद्रों के साथ समन्वय स्थापित किया जाता है तथा जलाशयों/बांधों से अतिरिक्त पानी छोड़े जाने के सम्बन्ध में जानकारी प्राप्त करने के लिए जिला अधिकारियों के साथ समन्वय स्थापित किया जाता है।